UPDATE-14 इसके बाद जब भी मौका मिलता तो मैं और रितेश अपनी जिस्म की आग को बुझाते और नई स्टाईल से मजा लेती!
और अब तो मुझे भी गाली देने की आदत सी हो गई थी।
लेकिन एक दिन मुझे उल्टी सी महसूस हुई और उसके बाद लगातार होने लगी और मन खट्टा होने लगा तो मेरी मम्मी मुझे डॉक्टर के यहां ले गई।
डॉक्टर ने चेक अप करने के बाद मुझे बताया कि मेरे पेट में बच्चा है, तो मेरे पैरो के नीचे से जमीन खिसक गई।
डॉक्टर जाकर मेरी मम्मी को बताने वाली थी लेकिन मेरे रिक्वेस्ट करने पर न बताने को बोली और जल्दी ही ऑर्बशन कराने के लिये बोली।
मुझे एक लम्बा चौड़ा सा लेक्चर पिला दिया।
लेकिन एक बात डॉक्टर ने बताई कि खूब खुल कर मजा लो लेकिन अगर बच्चा नहीं चाहती हो तो कुछ प्रिकॉशन लो और कोशिश करो कि लड़के का पानी तुम्हारे अन्दर न जाये।
मेरे लिये अब चिन्ता की बात यह थी कि इस बात को कैसे छुपाया जाये।
तो डॉक्टर से छुटने के बाद मैं सीधा रितेश से मिली और जो जो डॉक्टर ने बताया सब बात रितेश को बता दी।
किसी तरह घर से बहाना बना कर ऑबोर्शन कराने पहुँची।
इस समय रितेश ने मेरा खूब साथ दिया और जैसे-जैसे डॉक्टर ने कहा उस तरह मेरा ध्यान रखा।
धीरे-धीरे दोनों लोगों का एक-दूसरे के यहां आना जाना शुरू हो चुका था। रितेश मेरे परिवार एक एक-एक सदस्य से मिल चुका था और मैं रितेश के परिवार के एक-एक सदस्य से मिल चुकी थी।
हलाँकि रितेश में परिवार में ज्यादा लोग नहीं थे, उसके एक जीजा, जो काफी हैण्डसम थे और पुलिस में थे, उसकी मम्मी थी, पापा थे जो 55 की उम्र में भी काफी हट्टे कट्टे जवान को मात करते थे और दो छोटे भाई थे दोनों ही अब तक बालिग हो चुके थे।
हम दोनों के परिवार को हम दोनों के रिश्ते को मंजूरी भी मिल चुकी थी पर शर्त इतनी थी कि अच्छी सी जॉब मिलने के बाद हम दोनों की शादी कर दी जायेगी।
लेकिन किसी को यह नहीं मालूम था कि हम दोनों जिस्म की आग को बुझा रहे हैं।
खैर आओ फिर से कहानी पर लौटते हैं।
अब वो कहानी यहां से शुरू होती है जब एक-एक करके कई लंड मेरी चूत में जा चले गये।
शुरू शुरू में मेरी चूत में जो भी लंड गया, उसमें रितेश भी शामिल था पर बाद में लंड मिलते गये और मैं लेती गई।
इसी क्रम में एक दिन रितेश मेरे पास आया और बटरिंग करने लगा तो मैंने बोल दिया- यार तेरे को जब भी मेरी चूत चाहिये होती है तो मैं तो तैयार ही हूँ ना फिर मेरी बटरिंग करने का क्या फायदा?
'आज कुछ नया करना है।'
मुझे लगा वो मेरी गांड मारने की बात कर रहा है तो मैं बोली- यार, एक चीज तो सुहागरात के लिये छोड़ दो, नहीं तो सुहागरात में क्या करोगे। कुछ तो कुवांरा रहने दो, मैं सुहागरात में तुमसे अपनी गांड ही मरवाऊँगी, यह वादा है।
तभी वो बोला- यार, मैं तेरी गांड सुहागरात का उदघाटन सुहागरात पर ही करूंगा पर अभी कुछ नया हो।
कह कर वो चुप हो गया और फिर बोला- देख, तू मेरी होने वाली बीवी है, मैं तुझसे कुछ छिपा कर नहीं करना चाहता, जो भी मैं करूँ तेरे साथ ही करूँ।